Pages

Friday, July 22, 2011

नंदलाल के संग

जय जय श्री राधे सरकार
जमुना जी के घाट पर अदभुत रचा प्रसंग
केश खोल राधा खड़ी नंदलाल के संग
चन्दन दतिया पकड़ राह्यों अलक सुलझाए
अतुल श्याम छवि देखकर राधे रही मुसकाय
कौतुक निरख  नंदलाल के गोपी भई निहाल

राधेरानी के केशन में  भले फसे गोपाल
अपनी माया डालकर सब जग रहा नचाय
ऐसे त्रिभंगी लाल को राधे रही सताय
चरण कमल में राख लो  "सोनल" की  अरदास
तव  सुमिरन मात्र मिटे जन्म-जन्म के त्रास .

19 comments:

  1. बहुत ही बढि़या ...।

    ReplyDelete
  2. क्या बात है!!...एकदम अलग सी रचना...

    ReplyDelete
  3. bahut hi achhi rachna.

    shubhkamnayen

    ReplyDelete
  4. बहुत सुन्दर भक्ति भावमयी रचना..

    ReplyDelete
  5. बहुत सुंदर भक्ति भाव की रचना...

    ReplyDelete
  6. जय हो सोनल माता की :).

    ReplyDelete
  7. आज तो भक्ति रस में डूबी रचना ले कर आई हैं ...सुन्दर प्रस्तुति

    ReplyDelete
  8. bhakti ras se sarobar rachna.........

    ReplyDelete
  9. आज तो श्याम रंग में रंगकर मीरा हो रही हैं!!बहुत खूब!

    ReplyDelete
  10. इतनी सुन्दर रचना पढ़ मन प्रसन्न हो गया।

    ReplyDelete
  11. जो सबको माया से चलता है वसी को राधा रानी बांधना चाहती हैं लंबे केशों में ...

    ReplyDelete
  12. वाह वा ....वाह वा ....
    समाँ बाँध दिया आपने आज
    शुभकामनायें ...

    ReplyDelete
  13. जिओ!!! बेहतरीन!!!

    ReplyDelete
  14. वाह...क्या बात है...
    प्रेम के बंधन से कोण बच पाया है... भला

    ReplyDelete
  15. जय श्री राधेश्याम | सुन्दर अभिव्यक्ति | आभार

    ReplyDelete
  16. बहुत खुब। प्रेम के बंधन से कोण बच पाया है
    मैं एक Social worker हूं और समाज को स्वास्थ्य संबंधी जानकारियां देता हुं। मैं Jkhealthworld संस्था से जुड़ा हुआ हूं। मेरा आप सभी से अनुरोध है कि आप भी इस संस्था से जुड़े और जनकल्याण के लिए स्वास्थ्य संबंधी जानकारियां लोगों तक पहुचाएं। धन्यवाद।
    HEALTHWORLD

    ReplyDelete